कोरबा बनी ‘डॉक्टरों की धरती’ — Physics Wallah Korba ने रचा इतिहास, NEET 2025 में 10 छात्रों की बड़ी सफलता.
कोरबा (छत्तीसगढ़), 17 जून 2025 : कभी “कोयले की नगरी” के नाम से पहचाना जाने वाला कोरबा आज देश की मेडिकल शिक्षा की क्रांति का नया केंद्र बन चुका है। शहर में शिक्षा की एक नई सुबह ने दस्तक दी है, और इस परिवर्तन की अगुवाई की है Physics Wallah Korba ने। NEET 2025 में इस संस्थान के 10 से अधिक छात्रों ने सफलता का परचम लहराकर न केवल कोरबा को गौरवान्वित किया है, बल्कि यह साबित कर दिया है कि बड़े सपनों को पूरा करने के लिए अब बड़े शहरों का मोहताज होना जरूरी नहीं।
NEET 2025 में कोरबा की ऐतिहासिक उड़ान
NEET 2025 के परिणामों में कोरबा के छात्रों ने जिस शानदार प्रदर्शन का परिचय दिया, वह केवल शैक्षणिक उपलब्धि नहीं, बल्कि सामाजिक बदलाव का प्रतीक है। अब कोरबा केवल कोयले और खनिजों का भंडार नहीं, बल्कि मेडिकल प्रतिभाओं की धरती बन चुका है।
बचपन से डॉक्टर बनने का सपना देखने वाले बच्चे अब कोटा या दिल्ली जाने की मजबूरी से मुक्त हैं। वे अब अपने ही शहर में रहकर, परिवार के साए में, अपनी तैयारी कर सकते हैं और उत्कृष्ट परिणाम भी हासिल कर सकते हैं।
Physics Wallah Korba — सफलता की नई पहचान
शहर में स्थापित Physics Wallah Korba सेंटर ने इस क्रांति में अहम भूमिका निभाई है। देशभर में शिक्षा के क्षेत्र में नया मानक स्थापित करने वाले PW ने कोरबा में भी वही उच्च गुणवत्ता की शिक्षा, समर्पित फैकल्टी, और अत्याधुनिक संसाधन उपलब्ध कराए हैं, जो अब तक केवल बड़े शहरों में सुलभ थे।
यहाँ के छात्रों को मिलता है:
- ऑल इंडिया टेस्ट सीरीज़ (AITS)
- 1-on-1 पर्सनल मेंटरशिप
- 24×7 Doubt Solving
- Disciplinary और Consistency सिस्टम
- प्रेरणादायक माहौल और मनोवैज्ञानिक सहयोग
PW Korba का मूल मंत्र है — “हर बच्चा कर सकता है।” यह संस्थान केवल टॉपर्स को नहीं, बल्कि उन छात्रों को भी साथ लेकर चलता है जो संसाधनों की कमी के बावजूद बड़े सपने देखते हैं।
सफलता के सितारे — जिन्होंने कोरबा को चमकाया
इस वर्ष NEET 2025 में सफलता हासिल करने वाले PW Korba के छात्रों में प्रमुख नाम हैं:
- विष्णु जायसवाल
- अंजलि कुमारी
- विवेक पटेल
- आयुष पाटले
- त्रिलोक सिंह कंवर
- निशा कंवर
- दुर्गेश रजवाड़े
- तेजस कुमार
- आकांशा कंवर
- जयवर्धन सिंह
इन छात्रों ने साबित कर दिया है कि आत्मविश्वास, सही मार्गदर्शन और परिवार का साथ — ये तीन शक्तियाँ मिल जाएं, तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं होता।

